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कंपनी के 500 से अधिक कर्मचारी रातों रात बने करोड़पति
कंपनी के 500 से अधिक कर्मचारी रातों रात बने करोड़पति

कंपनी के 500 से अधिक कर्मचारी रातों रात बने करोड़पति

तानिया शर्मा

अमेरिकी शेयर बाजार नास्डाक में सूचीबद्ध होने वाली पहली भारतीय एसएएएस (सॉफ्टवेयर एज ए सर्विस) कंपनी फ्रेशवर्क्स के भारत में 500 से अधिक कमर्चारी रातों-रात करोड़पति बन गये।

फ्रेशवर्क्स के सह-संस्थापक गिरीश मातरूबूतम ने सूचीबद्धता को कंपनी के लिये ‘अतुलनीय गर्व का क्षण’ बताया। फ्रेशवर्क्स पहली भारतीय एसएएएस कंपनी है, जो अमेरिका में सूचीबद्ध हुई है।

कंपनी के वैश्विक स्तर पर 4,300 कर्मचारी हैं।

चेन्नई में गिरीश मातरूबूतम और शान कृष्णासामी द्वारा 2010 में स्थापित, कैलिफोर्निया-मुख्यालय वाली कंपनी फ्रेशवर्क्स ने आईपीओ से एक अरब डॉलर से अधिक जुटाए हैं।

शेयर बुधवार को सूचीबद्धता मूल्य 36 डॉलर प्रति इक्विटी के मुकाबले 43.5 डॉलर प्रति शेयर पर पहुंच गया।

मातरूबूतम ने कहा कि इस आईपीओ ने मुझे सीईओ के रूप में फ्रेशवर्क्स के उन सभी कर्मचारियों के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाने का अवसर दिया है, जिन्होंने पिछले 10 वर्ष में हम पर विश्वास किया है और कंपनी में योगदान दिया है।

तमिलनाडु से शुरुआत

गौरतलब है कि कंपनी के दफ्तर चेन्नई और अमेरिका के San Mateo में हैं. यह सॉफ्टवेयर ऐज अ सर्विस (SaaS) कंपनी है। कंपनी ने इस आईपीओ से Nasdaq पर एक अरब अरब डॉलर से ज्यादा जुटाए हैं।

इसके फाउंडर और  CEO गिरीश मात्रुबुथम और शुरुआती इनवेस्टर्स एक्सेल और सिकोइया को आईपीओ की लिस्ट‍िंग काफी फायदा मिला है। इसके साथ ही कंपनी के सैकड़ों एंप्लॉयीज भी अब मिलियनेयर बन गए हैं।

कैसे बने कर्मचारी करोड़पति

असल में कंपनी के 76 प्रतिशत एंप्लॉयीज के पास इसके शेयर्स हैं। कई युवा एंप्लॉयीज ने कुछ वर्ष पहले कॉलेज से डिग्री ली थी और अपनी मेहनत से उन्होंने कंपनी के सैकड़ों एंप्लॉयीज भी अब मिलियनेयर बन गए हैं।

Freshworks ने दो वर्ष पहले 3.5 अरब डॉलर के वैल्यूएशन पर सिकोइया कैपिटल और एक्सेल जैसे इनवेस्टर्स से 15.4 करोड़ डॉलर का फंड हासिल किया था।

क्या कहा फ्रेशवर्क्स के फाउंडर ने

वेल्थ जनरेशन के बारे में पूछे जाने पर फ्रेशवर्क्स के फाउंडर और चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर गिरीश मैथ्रबूथम ने कहा कि ‘मैं वास्तव में मानता हूं कि जिन लोगों ने वेल्थ (पैसा) बनाने में मदद की है उन लोगों के साथ इसे शेयर किया जाना चाहिए।

ये अकेले संस्थापक को अमीर बनाने के लिए नहीं है। भारत में हमारे 500 से अधिक एम्प्लॉई करोड़पति हैं। मेरा मानना है कि वे इसके लिए योग्य है और उन्होंने इसे अर्जित किया है। सभी ने कंपनी की ग्रोथ में योगदान दिया है।

 

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