Corona Vaccine Third Phase Trial: भारत बायोटेक ने जारी किया थर्ड फेज के ट्रायल का नतीजा, कोवैक्सीन 81 फीसदी तक प्रभावी

Corona Vaccine Third Phase Trial : भारत की वैक्सीन बनाने वाली बायोटेक (Bharat Biotech) ने बुधवार को COVAXIN के थर्ड फेज ट्रायल का डेटा जारी कर दिया है. इस ट्रायल में COVAXIN 81 प्रतिशत प्रभावी रहा है. इस ट्रायल में 25,800 लोगों को जारी किया गया था, इन लोगों के ही नतीजे जारी किए गए हैं. 43 केस के अंतरिम डेटा पर ये देखा गया कि 36 केसों में कोवैक्सीन (COVAXIN) और सात में प्लेसिबो पड़ा था. दोनों के एंटीबाडी रिस्पांस का परिणाम ये रहा कि COVAXIN 80.6% प्रभावी रहा.

कोवैक्सीन को लेकर ICMR का दावा, कहा- न्यू कोरोना स्ट्रेन पर भी असरदार

दुनिया भर में तांडव मचाने के बाद से किसी तरह से विश्व के कई देशों ने वैक्सीन बनाई और धीरे-धीरे इस विनाशक महामारी को काबू में करने के प्रयत्न शुरू किए. अभी इस महामारी पर पूरी तरह से काबू भी नहीं पाया जा सका था कि तब तक एक और नई महामारी से दुनिया का सामना शुरू हो गया. ये है कोरोना वायरस का न्यू स्ट्रेन, इसके मामले हमें यूके में दिखाई दिए थे.

हालांकि इस महामारी को लेकर भी भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (ICMR) ने एक शोध किया और इस शोध में नतीजे सकारात्मक मिले हैं. ICMR ने तो यहां तक दावा किया है कि कोरोना वायरस को खत्म करने के लिए भारत में बनी स्वदेशी कोवैक्सीन काफी कारगर है.

आपको बता दें कि कोवैक्सीन टीके के साइड इफेक्ट को लेकर कंपनी ने पहले ही ये नोट भी जारी कर दिया था कि कौन-कौन लोग ये वैक्सीन न लें. कंपनी ने कहा था कि अगर कोई पहले से ही रेगुलर दवाई ले रहा है, जिसका सीधा असर उसके इम्युन सिस्टम पर हो तो ऐसे लोग फिलहाल कोवैक्सीन न लें.

कंपनी ने लोगों से अपील की है कि एलर्जी और किसी अन्य गंभीर बीमारी से पीड़ित लोग वैक्सीन लेने से पहले इस बारे में अपनी जानकारी जरूर दें. साथ ही कंपनी के चेयरमैन कृष्णा एल्ला ने कहा कि कोवैक्सीन 200 फीसदी सुरक्षित है, हमें वैक्सीन बनाने का अच्छा अनुभव है और हम विज्ञान को गंभीरता से लेते हैं.

भारत बायोटेक के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक कृष्णा एल्ला ने कहा, ‘‘ कोरोना वायरस के खिलाफ हमारी लड़ाई और वैक्सिन (टीका) की खोज में विज्ञान के लिए आज एक ऐतिहासिक दिन है.

तीसरे चरण के चिकित्सीय परीक्षण के आज के परिणाम के साथ हमने अपने कोविड- 19 टीके के पहले, दूसरे और तीसरी परीक्षण के आंकड़ों को जारी कर दिया है. इन परीक्षणों में करीब 27,000 व्यक्ति शामिल हुये.’’

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