अंजलि तंवर
कैप्टन अमरिंदर सिंह के इस्तीफे के 24 घंटे बाद आखिरकार पंजाब के नए मुख्यमंत्री का नाम तय हो गया। कांग्रेस के दलित नेता चरणजीत सिंह चन्नी राज्य के नए CM होंगे।
पंजाब में पार्टी इंचार्ज हरीश रावत ने ट्वीट करके चन्नी के कांग्रेस विधायक दल का नेता चुने जाने की जानकारी दी। चन्नी रामदासिया सिख कम्युनिटी से हैं। इधर, खबर मिली है कि सुखजिंदर रंधावा और ब्रह्म मोहिंद्रा को डिप्टी सीएम बनाया जाएगा।
चन्नी के कांग्रेस विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद कांग्रेस के प्रभारी हरीश रावत उन्हें लेकर राज्यपाल से मिलने पहुंचे। नवजोत सिंह सिद्धू और सुखजिंदर सिंह रंधावा भी उनके साथ गए। इस मुलाकात के बाद चरणजीत चन्नी ने कहा कि सोमवार सुबह 11 बजे शपथ ग्रहण होगा।
चरणजीत सिंह चन्नी चमकौर साहिब से लगातार 3 बार विधायक बने। 2007 में उन्होंने निर्दलीय चुनाव जीता था। इसके बाद 2 बार कांग्रेस की टिकट पर MLA बने। 2015 से 2016 तक पंजाब विधानसभा में विपक्ष के नेता रहे। 2017 में कैप्टन अमरिंदर सिंह की सरकार में उन्हें टेक्निकल एजुकेशन और इंडस्ट्रियल ट्रेनिंग मंत्री बनाया गया था।
चन्नी के बहाने कांग्रेस का 32% दलित वोट बैंक पर निशाना
चन्नी के सहारे कांग्रेस ने पंजाब में 32% दलित वोट बैंक पर निशाना साधा है। इसके अलावा अकाली दल के दलित डिप्टी सीएम बनाने के चुनावी वादे का भी तोड़ निकाल लिया। भाजपा ने भी दलित CM बनाने का वादा किया था।
CM के लिए रंधावा के नाम पर सिद्धू राजी नहीं हुए
इससे पहले CM के लिए सुखजिंदर सिंह रंधावा (सुक्खी) के नाम पर सहमति बन गई थी, लेकिन नवजोत सिद्धू उनके नाम पर राजी नहीं थे। सिद्धू ने खुद को CM बनाने का दावा ठोंका था, लेकिन वे पंजाब कांग्रेस के प्रधान हैं, इसलिए हाईकमान ने उनके नाम को हरी झंडी नहीं दी।
इसके बाद सिद्धू खेमे ने दलित मुख्यमंत्री बनाने की बात कही। सिद्धू की तरफ से चन्नी का नाम रखने के पीछे खास वजह है। दरअसल, सिद्धू ऐसा CM चाहते हैं जो उनकी बात सुने, लेकिन सुखजिंदर रंधावा का स्वभाव उस तरह का नहीं है।