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ऑपरेशन सिंदूर: भारत की एकजुटता और वीरता का प्रतीक

भारत ने एक बार फिर यह सिद्ध कर दिया है कि जब बात राष्ट्रीय सुरक्षा और नागरिकों की रक्षा की हो, तो देश एक जुट होकर हर चुनौती का सामना कर सकता है। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ न सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई थी, बल्कि यह एक सुरक्षा यात्रा थी। मार्ग में बाधा डालने वालों को अब सुरक्षित जगह नहीं मिलेगी। भारत ने अपने ऑपरेशन में भारतीय सेना, वायुसेना और नौसेना- तीनों ने अद्भुत तालमेल के साथ आतंकी ठिकानों को नेस्तनाबुद किया और यह सिद्ध किया कि अब तक भारत केवल कमजोर देशों में गिना जाता था, भारत अब सिर्फ कूटनीतिक बयान नहीं देता, बल्कि जरूरत पड़ने पर सीधी और सटीक कार्रवाई करता है।

ऑपरेशन सिंदूर को लेकर PM मोदी का पहला रिएक्शन

पहलगाम आतंकी हमले का मुंहतोड़ जवाब देते हुए भारत ने पाकिस्तान पर एयरस्ट्राइक की. इस ऑपरेशन सिंदूर को लेकर पीएम मोदी ने कैबिनेट मंत्रियों को जानकारी देते हुए सेना की तारीफ की।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में स्थित नौ आतंकी ठिकानों पर की गई सफल कार्रवाई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ नाम दिया। यह नाम उन वीर नारियों के सम्मान में चुना गया, जिनके परिवार आतंकवाद की घटना में प्रभावित हुए थे। इन महिलाओं की तस्वीरों ने पूरे देश को भावुक कर दिया और एकजुट होकर दृढ़ और निर्णायक कार्रवाई की प्रेरणा दी।

‘सिंदूर’: सम्मान, त्याग और शक्ति का प्रतीक

इस ऑपरेशन का नाम ‘सिंदूर’ भारतीय संस्कृति में सम्मान, त्याग और शक्ति का प्रतीक है, और यह नाम उन बहादुर महिलाओं की भावना को दर्शाता है, जो अपने प्रियजनों के बलिदान के बाद भी साहस से खड़ी रहीं।

इस अभियान की जानकारी देने के लिए सेना की दो महिला अधिकारी, कर्नल सोफिया कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह, मीडिया के सामने आईं। यह दृश्य अपने आप में एक नया संदेश था—कि भारत की बेटियाँ भी अब देश की रक्षा और नेतृत्व में अग्रणी भूमिका निभा रही हैं।

प्रेस कॉन्फ्रेंस में संसद हमले, मुंबई हमले, पुलवामा हमले और पहलगाम हमले जैसे भयानक घटनाओं को याद करते हुए यह संदेश दिया गया कि भारत अब न भूलता है, न सहता है।

‘ऑपरेशन सिंदूर’ सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई नहीं, बल्कि नए भारत के आत्मविश्वास, महिला सशक्तिकरण और आतंक के खिलाफ एकजुटता का प्रतीक बन गया है।

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