नई दिल्ली। भारतीय न्यायिक इतिहास में पहली बार एक हाईकोर्ट के जज सुप्रीम कोर्ट में अपने केस की पैरवी करेंगे। जानकारी के मुताबिक कलकत्ता हाईकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस करनन खुद के दबादले को लेकर कॉलेजियम जनादेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में खुद पेश होंगे। इसे लेकर जस्टिस करनन ने 21 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट रजिस्ट्रार को पत्र लिख कर खुद शीर्ष कोर्ट में पेश होने की इच्छा जताई थी। पिछले साल सुप्रीम कोर्ट के कॉलेजियम ने जस्टिस करनन के तबादले की सिफारिश की थी। लेकिन पूर्व जस्टिस टीएस ठाकुर की ओर से जारी इस आदेश पर उन्होंने खुद ही स्टे लगा दिया था। करनन ने अपने ट्रांसफर के बारे में पूर्व सीजेआई से जवाब मांगा था और उनसे उनके न्यायिक अधिकार में दखल न देने को कहा था।